सबसे सटीक ज्वालापुर टाइम्स न्यूज़…
रुद्रपुर में शिक्षा विभाग के कार्मिकों ने अपने लंबित काउंसिलिंग पत्र जारी न होने के विरोध में शनिवार से कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया। एजुकेशनल मिनिस्ट्रियल अफ़िसर्स एसोसिएशन के नेतृत्व में कर्मचारी मुख्य शिक्षा अधिकारी कार्यालय के बाहर धरने पर बैठे हैं।
शिक्षा विभाग में पदोन्नति और नियुक्ति प्रक्रिया का विवाद
उत्तराखंड में शिक्षा विभाग के भीतर लंबे समय से पदोन्नति प्रक्रिया और तैनाती से संबंधित मुद्दे चर्चा में रहे हैं। विशेषकर मिनिस्ट्रियल कैडर के कर्मचारियों के लिए प्रशासनिक अधिकारी पद पर प्रमोशन के बाद भी समय से तैनाती न होने की शिकायतें बार-बार सामने आती रही हैं।
इसी क्रम में हाल ही में हुए प्रमोशन के बाद कई कर्मचारियों को अभी तक काउंसिलिंग पत्र उपलब्ध नहीं कराए गए, जिससे विभागीय असंतोष बढ़ गया। यही विवाद अब बड़े आंदोलन का रूप ले चुका है।
कब और कैसे शुरू हुआ कार्य बहिष्कार
धरने की शुरुआत
शनिवार से रुद्रपुर में एजुकेशनल मिनिस्ट्रियल अफ़िसर्स एसोसिएशन के बैनर तले शिक्षा विभाग के कार्मिकों ने कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया।
कर्मचारी मुख्य शिक्षा अधिकारी (C.E.O.) कार्यालय के बाहर बड़ी संख्या में इकट्ठा हुए और शांतिपूर्ण धरना दिया।
कर्मचारियों की मुख्य मांगें
धरने पर बैठे कर्मचारियों का कहना है कि—
- प्रधान सहायक से प्रशासनिक अधिकारी पद पर पदोन्नति के बाद भी काउंसिलिंग पत्र जारी नहीं किए गए
- प्रारंभिक शिक्षा निदेशक कार्यालय द्वारा जानबूझकर देरी की जा रही है
- देरी से कर्मचारियों के भविष्य, स्थानांतरण और वेतन संबंधी मामलों पर असर पड़ रहा है
देहरादून में चल रहा आमरण अनशन
कर्मचारियों ने बताया कि इसी मुद्दे पर
प्रांतीय कार्यकारिणी सदस्य साबर सिंह रौथाण
शिक्षा निदेशालय, देहरादून में आमरण अनशन पर बैठे हुए हैं।
उनके समर्थन में रुद्रपुर में आंदोलन और तेज हो गया है।
आंदोलन का साफ संदेश
एसोसिएशन ने स्पष्ट कर दिया है कि—
“काउंसिलिंग पत्र जारी होने तक आंदोलन जारी रहेगा।
शिक्षा तंत्र पर पड़ेगा असर
कर्मचारियों के कार्य बहिष्कार से विभागीय गतिविधियों पर असर दिखना शुरू हो गया है।
- फाइलों की मूवमेंट धीमी हो रही है
- स्कूलों से आने वाले प्रशासनिक पत्रों का निस्तारण रुक सकता है
- नियुक्ति, वेतन, अवकाश और रिकॉर्ड अपडेटिंग जैसी प्रक्रियाएँ बाधित होंगी
- इससे जिले के सैकड़ों स्कूलों पर अप्रत्यक्ष प्रभाव पड़ेगा
अगर आंदोलन लंबा चला, तो इससे शिक्षा विभाग की प्रशासनिक क्षमताओं पर व्यापक असर पड़ सकता है।
पहले भी उठ चुके हैं ऐसे विवाद
उत्तराखंड के शिक्षा विभाग में पिछले वर्षों में भी कई बार पदोन्नति और तैनाती को लेकर असंतोष देखने को मिला है।
उदाहरण:
- वर्ष में भी काउंसिलिंग में देरी के खिलाफ कर्मचारियों ने आंदोलन किया था
- पिछले पाँच वर्षों में कर्मचारियों से संबंधित प्रशासनिक मामलों में “…” प्रतिशत शिकायतें बढ़ी हैं
रुद्रपुर में शिक्षा विभाग के कर्मचारियों द्वारा शुरू किया गया कार्य बहिष्कार प्रशासनिक प्रक्रियाओं में सुधार की अपेक्षा का प्रतीक है। कर्मचारियों का कहना है कि जब तक काउंसिलिंग पत्र जारी नहीं किए जाते, आंदोलन जारी रहेगा।
सरकार और विभाग को जल्द समाधान के लिए पहल करनी चाहिए ताकि शिक्षा व्यवस्था प्रभावित न हो।
यह भी पढ़ें–ज्वालापुर पुलिस की देर रात चैकिंग में दो संदिग्ध गिरफ्तार, अवैध चाकू बरामद…
उत्तराखंड की सभी ताज़ा और महत्वपूर्ण ख़बरों के लिए ज्वालापुर टाइम्स न्यूज़ WHATSAPP GROUP से जुड़ें और अपडेट सबसे पहले पाएं
यहां क्लिक करें एक और हर अपडेट आपकी उंगलियों पर!
यदि आप किसी विज्ञापन या अपने क्षेत्र/इलाके की खबर को हमारे न्यूज़ प्लेटफ़ॉर्म पर प्रकाशित कराना चाहते हैं, तो कृपया 7060131584 पर संपर्क करें। आपकी जानकारी को पूरी जिम्मेदारी और भरोसे के साथ प्रसारित किया जाएगा।”

