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उत्तरप्रदेश : मुरादाबाद।
यूपी के मुरादाबाद जिले में पुलिस ने नकली नोट छापने वाले एक गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए शनिवार देर रात तीन लोगों को गिरफ्तार किया। पुलिस ने मौके से नकली करेंसी, प्रिंटर, स्कैनर और अन्य उपकरण बरामद किए। गिरोह किराए के कमरे में नकली नोट छापने का काम कर रहा था।
गिरफ्तार आरोपियों की पहचान और बरामदगी:
पुलिस ने जयंतीपुर चौकी क्षेत्र के ऊंचा टीला इलाके में छापा मारा। इस दौरान जयंतीपुर के आदिल, नई बस्ती काले बाबा के मैदान के पास रहने वाले शबाब अख्तर उर्फ राहुल और बिलारी के राजा का सहसपुर निवासी मोहम्मद नाजिम को गिरफ्तार किया गया।

मौके से 2 लाख 74 हजार 550 रुपये की नकली करेंसी, 3,500 रुपये की असली करेंसी, 13 प्रिंटेड नकली नोटों की शीट, प्रिंटर, स्कैनर और अन्य उपकरण बरामद किए गए।
कैसे बना गिरोह:
पुलिस के अनुसार, गिरोह का सरगना आदिल है, जो दसवीं पास है। आदिल ने पूछताछ में बताया कि उसने वेब सीरीज ‘फर्जी’ से प्रेरणा लेकर नकली नोट बनाने का काम शुरू किया।

आदिल पर काफी कर्ज था और उसने जल्द पैसा कमाने के लिए यह अवैध तरीका अपनाया। शुरुआत में वह छोटे नोट छापता था, लेकिन धीरे-धीरे 500 रुपये तक के नोट छापने लगा।
कैसे चलाए गए नकली नोट:

आरोपियों ने ग्रामीण इलाकों और आसपास के जिलों के गांवों में नकली नोट चलाए। अब तक यह गिरोह 3 लाख रुपये से अधिक की नकली करेंसी असली के रूप में खपा चुका है।
पुलिस कार्रवाई और जांच:

रविवार को प्रेस वार्ता में एसपी सिटी कुमार रणविजय सिंह और सीओ सिविल लाइंस अर्पित कपूर ने मामले की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि गिरोह की सूचना मिलने के बाद पुलिस ने छापेमारी की और नकली नोट छपते हुए तीनों आरोपियों को गिरफ्तार किया। गिरोह से जुड़े अन्य लोगों की पहचान के लिए जांच जारी है।
पुलिस टीम को सम्मान:
गिरफ्तार करने वाली पुलिस टीम को एसएसपी द्वारा 25 हजार रुपये का इनाम दिया गया है।
सभी आरोपियों को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया है।
निष्कर्ष:
यह घटना दिखाती है कि कैसे डिजिटल मीडिया का दुरुपयोग और आर्थिक दबाव किसी व्यक्ति को अपराध की ओर धकेल सकता है। पुलिस की सक्रियता से इस गिरोह का पर्दाफाश हुआ और नकली नोटों का धंधा समय रहते खत्म किया गया।